जब पूर्व डीजीपी ने देखा- यहाँ तो गौरैइया की पंचायत चल रही है


लखनऊ। उत्तर प्रदेश समेत देशभर की पुलिस में साहसी और निडर अधिकारी के रूप में प्रख्यात रहे पूर्व डीजीपी वृजलाल समसामयिक विषयों पर सक्रिय रहते हैं। साथ ही श्री वृजलाल ने अपने घर और बाहर फूल, पौधे, पेड़ और पक्षियों का बसेरा बनाया है। अपने इन क्यारियों व बसेरों की नई-पुरानी जानकारी के साथ प्रतिदिन सोशलमीडिया पर सक्रिय भी रहते हैं।


पूर्व डीजीपी श्री वृजलाल ने मंगलवार सुबह सोशलमीडिया पर अपडेट किया कि बीते सोमवार (22-6-2020) को शायं 6.50 बजे अपने आवास के सामने घूम रहा था कि मेरी नज़र बगिया की सूखी झाड़ पर पड़ी। यह क्या- यहाँ तो गौरैया की पंचायत चल रही है। अपने बसेरे में जाने के पहले खुली जगह पर गौरैया इकट्ठा होती है और ऐसा लगता है कि दिन भर के क्रिया-कलाप और अगले दिन की योजना पर गम्भीर चर्चा कर रही है।


उन्होंने लिखा है कि गौरैया का ब्रीडिंग सीजन ख़त्म हो रहा है और नवजात शिशु भी आत्मनिर्भर हो गये है। गौरैया के जोड़े अपने बच्चों को नरम कीड़े-मकोड़े खिलाते हैं। उनके बच्चे अब कीड़े के अलावा माँ-बाप की तरह दाना भी चुगने लगे हैं। मैं इनके लिए टूटे चावल, बाजरा और काकुन खिलाता हूँ, ग्रीन गार्डेन में कीड़ों की कमी नहीं जो इन गौरइयों के भोजन बन जाते हैं। पूर्व डीजीपी ने लिखा है कि मैंने अपने घर और ग्रीनबेल्ट में इनके घोंसले लगाये थे, अब गौरैया मेरे परिवार की सदस्य बन गयी है। संख्या भी आधा सैकड़ा पार कर गयी है। सुबह की नीद इनके चह-चहाहट से खुलती है और दिन भर इनका कलरव गुंजायमान रहता है।